सनम बेवफ़ा!
करते हो वायदा वफ़ा का हर दफा।
पता नहीं तुम भूल जाते हो,
या जान कर करते जफ़ा।
तुम कामयाब तिजारती हो,
बेवफ़ाई में भी देखते होगे नफ़ा।
है बेवफ़ाई फितरत तुम्हारी,
हम जानकर भी करते वफ़ा।
अपनी आदत से मज़बूर हैं हम,
इसी लिये नहीं होते खफ़ा।
ये तुम्हारी आदत है या कुछ और,
अब करनी होगी तुम्हें हर बात सफ़ा।
जयन्ती प्रसाद शर्मा।
करते हो वायदा वफ़ा का हर दफा।
पता नहीं तुम भूल जाते हो,
या जान कर करते जफ़ा।
तुम कामयाब तिजारती हो,
बेवफ़ाई में भी देखते होगे नफ़ा।
है बेवफ़ाई फितरत तुम्हारी,
हम जानकर भी करते वफ़ा।
अपनी आदत से मज़बूर हैं हम,
इसी लिये नहीं होते खफ़ा।
ये तुम्हारी आदत है या कुछ और,
अब करनी होगी तुम्हें हर बात सफ़ा।
जयन्ती प्रसाद शर्मा।
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